एआइपीएमएम ने धूमधाम से मनाई डॉ. ए.पी.जे. अब्दुल कलाम की जयंती

लखनऊ। आज लखनऊ स्थित आल इंडिया पसमांदा मुस्लिम महाज के राष्ट्रीय कार्यालय पर भारत रत्न, मिसाइलमैन डाक्टर एपीजे अब्दुल की जयंती बड़ी धूमधाम से मनाई गई।
संगठन के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष व प्रदेश संयोजक हाजी नेहाल अंसारी ने कहा भारत के पूर्व राष्ट्रपति और महान वैज्ञानिक ’’डॉ. ए.पी.जे. अब्दुल कलाम’’ न केवल एक उत्कृष्ट वैज्ञानिक थे, बल्कि वे करोड़ों भारतीयों के दिलों में “’जनता के राष्ट्रपति’” के रूप में बसते हैं। उनका पूरा जीवन समर्पित रहा ’देश, शिक्षा और युवाओं के उज्ज्वल भविष्य’ के लिए।
राष्ट्रीय प्रधान महासचिव मारूफ अली ने कहा डॉ. कलाम का जन्म ’’15 अक्टूबर 1931’’ को तमिलनाडु के रामेश्वरम में एक साधारण परिवार में हुआ। सीमित संसाधनों के बावजूद उन्होंने अपने सपनों को कभी छोटा नहीं होने दिया। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन और रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन में उन्होंने कई महत्वपूर्ण परियोजनाओं में योगदान दिया, जिनमें ’स्लवेत ैस्ट.प्प्प् रॉकेट’ और ’अग्नि एवं पृथ्वी मिसाइलों का निर्माण’ शामिल है। इसी कारण उन्हें “’मिसाइल मैन ऑफ इंडिया’” कहा गया। वर्ष ’’2002 से 2007’’ तक वे भारत के राष्ट्रपति रहे। इस दौरान उन्होंने विज्ञान, शिक्षा और नैतिकता को समाज में फैलाने का कार्य किया। राष्ट्रपति पद छोड़ने के बाद भी वे लगातार युवाओं के बीच जाकर उन्हें प्रेरित करते रहे। उनका प्रसिद्ध कथन
“सपना वो नहीं जो आप नींद में देखते हैं,
झ सपना वो है जो आपको सोने नहीं देता।”
प्रदेश प्रभारी अफजल अंसारी ने कहा डॉ. कलाम का निधन ’’27 जुलाई 2015’’ को शिलॉन्ग (मेघालय) में एक व्याख्यान के दौरान हुआ, जब वे युवाओं को सफलता का पाठ पढ़ा रहे थे। जीवन के अंतिम क्षण तक उन्होंने शिक्षा और प्रेरणा को ही अपना लक्ष्य बनाए रखा। आज भी डॉ. कलाम की जयंती (15 अक्टूबर) को पूरे देश में ’“विश्व विद्यार्थी दिवस”’ के रूप में मनाया जाता है, जो उनकी शिक्षा, सादगी और समर्पण का प्रतीक है। इस अवसर पर प्रदेश महासचिव इलियास, लखनऊ जिला अध्यक्ष फैज मोहम्मद, जफर आलम, शकील लेड़ी, एहतेशाम मौजूद रहे।